उत्तर प्रदेश में माता-पिता के साथ मध्यप्रदेश से मथुरा आ रही 8 साल की मासूम चलती ट्रेन से नीचे गिर गई। जब बच्ची इमरजेंसी विंडो से गिरी तब ट्रेन करीब 100 की स्पीड में चल रही थी।
ट्रेन के 10 किमी आगे जाने पर पिता को पता चला बेटी गायब है। रात में ट्रेन जंगल में रोकी गई। करीब 17 किमी दूर बच्ची झाड़ी में घायल मिली। बच्ची का एक पैर टूट गया है। रविवार देर शाम अस्पताल में उपचार के बाद बच्ची को घर भेज दिया गया। हादसा ललितपुर रेलवे स्टेशन से करीब 8 किमी दूर हुआ था।
वृंदावन में रंगनाथ मंदिर के पास रहने वाले अरविंद तिवारी, पत्नी अंजलि तिवारी और 8 साल की बेटी गौरी, 5 साल के बेटे मृदुल के साथ मध्य प्रदेश के टीकमगढ़ स्थित पैतृक गांव में नवरात्रि मनाने के लिए गए थे। अष्टमी की पूजा कर शुक्रवार को गीता जयंती एक्सप्रेस ट्रेन से मथुरा आ रहे थे।
ट्रेन की इमरजेंसी खिड़की से गिरी मासूम गौरी ने बताया कि मैं ट्रेन की खिड़की के पास बैठी थी। भाई के साथ खेल रही थी। ट्रेन की खिड़की खुली थी। अचानक मोड़ आया और तेज हवा के कारण खिड़की से बाहर गिर गई। मेरे पैर में चोट थी। इस कारण खड़ी नहीं हो सकी। झाड़ी में करीब 2 घंटे तक पड़ी रोती रही। अंधेरा होने से डर लग रहा था।