हरियाणा सरकार ने आप सुप्रीमो अरविंद केजरीवाल के यमुना में जहर मिलाने के दिए बयान के खिलाफ कड़ा एक्शन लिया है। राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से बुधवार को सोनीपत की सीजेएम की अदालत में केजरीवाल के खिलाफ आपदा प्रबंधन अधिनियम की धारा 2 (डी) और 54 के तहत केस दायर किया है। सोनीपत अदालत ने राज्य सरकार की याचिका स्वीकार कर केजरीवाल को नोटिस भेज दिया है। सीजेएम सोनीपत की अदालत ने यह भी कहा है कि यदि केजरीवाल 17 फरवरी को उपस्थित नहीं होते हैं तो यह माना जाएगा कि उन्हें मामले में कुछ नहीं कहना और आगे की कार्यवाही कानून के अनुसार की जाएगी।
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से राई जल सेवा प्रभाग के कार्यकारी अभियंता आशीष कौशिक ने सोनीपत के अदालत में केस दर्ज कराया है। उन्होंने अपनी शिकायत में बताया कि 28 जनवरी को यमुना नदी से सटे आसपास के गांवों के लोगों की एक भीड़ सिंचाई विभाग के परिसर में गई और पूछताछ करने लगी कि हरियाणा सरकार ने यमुना नदी में जहर क्यों डाला है। इस जहर से कई लोगों और जानवरों की मौत हो सकती है। जब लोगों से पूछा गया कि उनकी जानकारी का स्रोत क्या है। इस पर कुछ लोगों ने सोशल मीडिया पर वायरल एक वीडियो क्लिप दिखाई, जिसमें अरविंद केजरीवाल यह बयान देते नजर आ रहे थे कि हरियाणा सरकार ने यमुना नदी के पानी में जहर मिला दिया है।
वीडियो में वह कहते हुए दिख रहे हैं कि दिल्ली जल बोर्ड के अधिकारियों की सतर्कता की वजह से इसकी जानकारी मिल गई और दिल्ली के कई निवासियों की जान बचाई है। शिकायतकर्ता ने भीड़ को शांत किया और उन्हें आश्वासन दिया कि वायरल वीडियो में जिस तरह का दावा किया जा रहा है, वैसा कुछ भी नहीं हुआ है और यह बिल्कुल गलत बयान है। उसके बाद भीड़ शांत हुई और लोग वहां से चले गए।